आम आदमी पार्टी ने अशोक विहार के एक सीवर लाइन की सफाई के दौरान मजदूर की मौत पर भाजपा को आड़े हाथ लिया। ‘‘आप’’ के वरिष्ठ नेता कुलदीप कुमार ने कहा कि भाजपा सरकार प्रधानमंत्री मोदी के जन्मदिन के जश्न में डूबी है और उसके के लिए दलितों-मजदूरों की जान की कोई कीमत नहीं है। अधिकारियों की लापरवाही के चलते सीवर में उतरे तीन मजदूरों में से एक की मौत हो गई और दो की हालत गंभीर है। लेकिन उनका हाल पूछने वाला कोई नहीं है। उन्होंने कहा कि सिर्फ अरविंद केजरीवाल की सरकार ने सीवर साफ करने के दौरान जान गंवानें वाले परिवारों का दर्द समझा और उनको सीवर साफ करने की मशीनें देकर उद्यमी बनाया। ‘‘आप’’ की मांग है कि सरकार दोषी अफसर पर कार्रवाई करे। साथ ही, मृतक परिवार को एक करोड़ रुपए मुआवजा और एक सदस्य को नौकरी दे।
गुरुवार को ‘‘आप’’ मुख्यालय पर प्रेसवार्ता कर कोंडली से विधायक कुलदीप कुमार ने कहा कि 17 सितंबर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का जन्मदिन था। उनके जन्मदिन के अवसर पर देश के अखबार भाजपा शासित राज्यों द्वारा मोदी जी को दी गईं बधाइयों के विज्ञापनों से अटे पड़े थे। लेकिन उसी अखबार में एक छोटी सी खबर भी छपी थी, जिसे दिल्ली की भाजपा सरकार ने अनदेखा कर दिया। दुर्भाग्यपूर्ण खबर यह थी कि दिल्ली में एक 40 वर्षीय व्यक्ति की सीवर में घुसने से मौत हो गई।
कुलदीप कुमार ने कहा कि यह दुखद है कि आजादी के 78 वर्ष बाद भी देश की राजधानी में एक मजदूर की सीवर में घुसने से मौत हो जाती है। यह घटना दिल्ली के अशोक विहार की है, जहां प्रधानमंत्री मोदी ने चुनाव में अपने नाम का डंका बजाया था। चुनाव जीतने के लिए “जहां झुग्गी वहां मकान” के नाम पर जल्दबाजी में जिस सीवर लाइन का काम पूरा किया गया, उसी सीवर लाइन का काम पूरा न होने से एक मजदूर को आनन-फानन सीवर में उतार दिया गया। तीन मजदूरों को रात के अंधेरे में सीवर के अंदर उतारा गया, जिनमें से एक 40 वर्षीय मजदूर की मौत हो गई और दो मजदूर अस्पताल में जिंदगी और मौत से जूझ रहे हैं।
कुलदीप कुमार ने कहा कि दिल्ली की भाजपा सरकार, मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता और सारे मंत्री मोदी जी का जन्मदिन मनाने में व्यस्त थे। उन्हें दलित गरीब मजदूर की कोई चिंता नहीं है, ना ही उन्हें कोई पीड़ा और दर्द है, क्योंकि उनके परिवार का कोई सदस्य सीवर में डूबकर नहीं मरा। एक सफाई कर्मचारी कुछ पैसे के लालच में और अधिकारियों की अनदेखी से सीवर में डूब गया और जहरीली गैस से उसकी मौत हो गई। लेकिन कोई खबर नहीं है, ना ही कोई पूछने वाला है।
कुलदीप कुमार ने कहा कि अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व वाली “आप” सरकार सीवर साफ करने वाले मजदूरों के दर्द को समझती थी। हमने दिल्ली में सीवर साफ करने की मशीनें मंगाईं। दिल्ली जल बोर्ड में व्यवस्था की कि सारे सीवर साफ करने का काम मशीनें करें, मजदूर नहीं। सीवर साफ करने के लिए मशीनें मंगाईं और साथ ही, जिन परिवारों के सदस्य पिछले वर्षों में सीवर साफ करते हुए मरे थे, उन परिवारों को उद्यमी बनाया। उन मशीनों को बिना पैसे के उनके नाम किया। अब उनके परिवारों को 50 से 60 हजार रुपये महीने की आमदनी हो रही है। यह अरविंद केजरीवाल सरकार का काम था।
कुलदीप कुमार ने कहा कि दूसरी ओर भाजपा की रेखा गुप्ता सरकार में कोई पूछने वाला ही नहीं है। डीडीए की इतनी लंबी चौड़ी सीवर लाइन में सफाई कर्मचारी को उतार दिया गया। अब उसके छोटे-छोटे बच्चों की देखभाल कौन करेगा? यह सरकार दलित विरोधी सरकार है। भाजपा सरकार के पास दलितों के उत्थान के लिए कोई योजना नहीं है। मजदूर की जान की कीमत इनकी नजर में कुछ नहीं है। इसलिए अभी तक मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता या किसी भाजपा मंत्री का कोई बयान नहीं है। न ही भाजपा सरकार की तरफ से पीड़ित परिवार को कोई सहायता आई है। गंभीर कर्मचारियों का कोई इलाज तक का पूछने वाला नहीं है। इस तरह 40 वर्षीय अरविंद नामक व्यक्ति ने अपनी जान गंवा दी।
कुलदीप कुमार ने कहा कि भाजपा सरकार सत्ता के नशे में चूर है। अगर प्रधानमंत्री मोदी जी का जन्मदिन मनाने के बाद फुर्सत मिल गई हो, तो इस व्यक्ति के परिवार की ओर एक बार देख लीजिएगा, जो प्रशासन, डीडीए व दिल्ली जल बोर्ड की लापरवाही और भाजपा के कुशासन के कारण अपने जीवन से हाथ धो बैठा। उसके बच्चे अपने पिता को खो बैठे। परिवार बेटा खो बैठा। उस परिवार की ओर जरूर देख लीजिएगा।
कुलदीप कुमार ने कहा कि आम आदमी पार्टी मांग करती है कि तुरंत प्रभाव से उन अफसरों पर कार्रवाई हो, जिन्होंने बिना उपकरण के सफाई कर्मचारी को सीवर में उतारा। दिल्ली पुलिस उन अधिकारियों पर तुरंत हत्या का मुकदमा दर्ज करे, तब यह रुकेगा। दिल्ली सरकार तुरंत प्रभाव से मृत सफाई कर्मचारी के परिवार को एक करोड़ रुपये का मुआवजा दें। साथ ही, परिवार से एक व्यक्ति को सरकारी नौकरी दें।