दिल्ली की शिक्षा क्रांति के जनक पूर्व उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया की पदयात्रा मंगलवार को तिमारपुर विधानसभा पहुंची, जहां जनता ने फूल मालाओं से उनका भव्य स्वागत किया। पदयात्रा में मनीष सिसोदिया ने पूछा कि ईमानदारी की क्या पहचान, तो जनता ने कहा, केजरीवाल और ‘झाड़ू’ निशान। स्कूली बच्चों ने सरकारी स्कूलों का कायाकल्प कर देश और दुनिया में सुर्खियां बटोरने वाले मनीष सिसोदिया से मिलकर उनका धन्यवाद किया। पदयात्रा में दिल्ली की जनता का संकल्प साफ दिखा कि विधानसभा चुनाव में अरविंद केजरीवाल और मनीष सिसोदिया की ईमानदारी पर ही मोहर लगेगी। जनता ने कहा कि अरविंद केजरीवाल और मनीष सिसोदिया की ईमानदारी पर पूरा भरोसा है। हमें मुख्यमंत्री और शिक्षा मंत्री के रूप में केजरीवाल और सिसोदिया वापस चाहिए। इस दौरान स्थानीय विधायक दिलीप पांडे समेत पार्टी के कार्यकर्ता मौजूद रहे।
पदयात्रा के दौरान मनीष सिसोदिया ने कहा कि हर जगह बड़ी संख्या में मुझे लोग मिल रहे हैं, जिनके बच्चों को अच्छी शिक्षा मिल रही है या मोहल्ला क्लीनिक का फायदा उठा रहे हैं या फिर जिनके बिजली के बिल जीरो आ रहे हैं। हर जगह दिल्ली के लोग यही कह रहे हैं कि हमें तो मुख्यमंत्री के रूप में वापस अरविंद केजरीवाल चाहिए और शिक्षा मंत्री के रूप में मनीष सिसोदिया चाहिए। हमें अरविंद केजरीवाल और मनीष सिसोदिया की ईमानदारी पर पूरा भरोसा है। इसीलिए अरविंद केजरीवाल ने इस्तीफा दिया है कि उनके उपर जो लांछन लगा है या मेरे उपर जो लांछन लगा है। इसलिए मैं भी पद पर नहीं बैठा। अब हम जनता के बीच जा रहे हैं और जनता से कह रहे हैं कि आप हमें ईमानदार मानते हैं तो आम आदमी पार्टी को वोट देकर अपना आशीर्वाद दीजिए और हमारी ईमानदारी पर अपनी मोहर लगाइए।
मनीष सिसोदिया ने कहा कि हर तरफ दिल्ली की जनता कह रही है कि आप हिम्मत मत हारना, हम अरविंद केजरीवाल को दोबारा मुख्यमंत्री बनाएंगे और आपको भी दोबारा शिक्षा मंत्री बनाएंगे, क्योकि आपने हमारे बच्चों के लिए स्कूल ठीक कराया है। अरविंद केजरीवाल ने हमारे लिए मोहल्ला क्लीनिक बनवाए, बिजली के बिल जीरो किए। हर गली-मोहल्ले में ऐसे बच्चे मिल रहे हैं, जिनके स्कूल ठीक हुए हैं। ऐसे लोग मिल रहे हैं, जिनके बच्चों का भविष्य ठीक हो रहा है। सभी लोग जान रहे हैं कि उनके बच्चों का भविष्य अच्छी शिक्षा में है और अच्छी शिक्षा केवल अरविंद केजरीवाल दे सकते हैं। दिल्ली के लोग इंतजार रहे हैं कि चुनाव आए तो हमें जीता कर दोबारा कुर्सी पर बैठाएं।
इससे पहले मनीष सिसोदिया ने जनता से सीधा संवाद करते हुए कहा कि आप जानते हैं कि अरविंद केजरीवाल ने इस्तीफा दे दिया है। वह चाहते तो अभी चार महीने और मुख्यमंत्री रह सकते थे। सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें जमानत दे दी थी और वह जेल से बाहर आ गए थे। कोर्ट ने मुझे जमानत देते हुए ईडी और सीबीआई से कहा था कि तुमने यह क्या केस बनाया है? यह ट्रायल कोर्ट में दो सवाल भी नहीं झेल पाएगा। इसके बावजूद अरविंद केजरीवाल ने कहा कि मैं इस्तीफा दे रहा हूं। उन्होंने इस्तीफा इसलिए दिया, क्योंकि वह इस देश के सबसे कट्टर ईमानदार नेता हैं। भाजपा ने साजिश के तहत केजरीवाल को जेल में डाला, मुझे पहले ही जेल में डाल रखा था, संजय सिंह को भी जेल में डाल दिया। भाजपा की साजिश थी कि इन नेताओं को जेल में डालकर इनकी सरकार तोड़ दी जाए और इनकी पार्टी को खत्म कर दिया जाए। इसलिए अरविंद केजरीवाल ने उस वक्त जानबूझकर इस्तीफा नहीं दिया और भाजपा की साजिश को नाकाम कर दिया।
मनीष सिसोदिया ने कहा कि जब सुप्रीम कोर्ट ने मुझे जमानत देते हुए कहा कि बाहर जाओ और काम करो। अरविंद केजरीवाल को भी जमानत दे दी, लेकिन उन्होंने बाहर आकर कहा कि भाजपा वालों ने मेरे ऊपर लांछन लगाया है। मैं इस लांछन का जवाब दिल्ली की जनता से दिलवाना चाहता हूं। चार महीने बाद चुनाव आवे वाले हैं। दिल्ली की जनता अरविंद केजरीवाल को ईमानदार मानती है और वह दोबारा से पूर्ण बहुमत देकर सरकार में भेजेगी और वह अगले पांच साल काम करेंगे। सुप्रीम कोर्ट ने खुद यह कहा है कि जो आरोप मेरे और अरविंद केजरीवाल के ऊपर लगे वह ट्रायल कोर्ट में टिकने वाला नहीं है। लेकिन वह दो सवाल पूछले के लिए कोर्ट में कम से कम 6 साल लग जाएंगे। केजरीवाल चाहते तो तब तक अपने पद पर ऐसे ही बने रहते, लेकिन उन्होंने कहा कि मैं यह लांछन नहीं सह सकता, मैं इस्तीफा दे रहा हूं और दिल्ली की जनता के बीच में जा रहा हूं।
उन्होंने कहा कि जब अरविंद केजरीवाल इस्तीफा दे रहे थे, तब मैं चाहता तो मैं भी मुख्यमंत्री या मंत्री बन सकता था। मैंने पिछले 8 साल में बच्चों के शानदार स्कूल, यूनीवर्सिटी बनवाई है, बच्चों की पढ़ाई शानदार करवाई है। मैं चाहता तो पद पर बैठ सकता था, लेकिन मैंने कहा कि ये लांछन मेरे ऊपर भी लगा है, मैं भी अभी पद पर नहीं बैठूंगा। मैं भी उप मुख्यमंत्री या शिक्षा मंत्री के पद पर तभी बैठूंगा, जब लोग कहेंगे कि सिसोदिया ईमानदार है। दिल्ली के लोग अगले चुनाव में तय करेंगे कि अगर मनीष सिसोदिया ईमानदार हैं तो उन्हें फिर से शिक्षा मंत्री बनाकर दिखा देंगे, नहीं तो मैं वापस कुर्सी पर नहीं बैठूंगा। हर परिवार मानता है कि बच्चे हमारा भविष्य होते हैं और इस भविष्य को संवारने का काम केवल मनीष सिसोदिया और अरविंद केजरीवाल की जोड़ी ही कर सकती है। केवल यही जोड़ी अच्छे स्कूल बना सकती है।